कुछ सपने तेरी यादों के कुछ यादें मेरे सपनो के l
कुछ पीले से लम्हे तेरी पानी में बहती आँखों के ll
हरजाई सूरज के वो बेवफाई वाले सच्चे किस्से l
तेरा तो मैं पूरा पूरा कुछ कुछ ही बस अपनों के ll
एक पल तो मुझे देखती शरमाई थी आँखें आँखों से गुजरता हुवा मुस्कान का साया शायद मेरी खामोशी ने है केह दिया तुमसे वो राझ जो मैं तुमसे कभी केह नहीं पाया....